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उत्तराखंड में भू कानून की मांग लंबे समय से हो रही है। हालांकि दो साल पहले धामी सरकार ने इसके लिए एक कमेटी बनाई थी, लेकिन उसके बाद सरकार का कोई फैसला इस मामले में सामने नहीं आया है। वहीं, अब पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक ने भू कानून को लेकर अपनी राय रखी है।

उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान भू कानून पर अपनी राय रखी। उन्होंने कहा कि राज्य का ज्यादातर हिस्सा वन क्षेत्र है और इसके बाद जो जमीन बचती है, उसमें राज्य का विकास और दूसरे काम किए जाने हैं। ऐसे में राज्य की जमीन को बचाने के लिए सख्त भू कानून की जरूरत है और व्यक्तिगत तौर पर वह इसके पक्षधर हैं।

धामी सरकार में बेहतर कानून व्यवस्था

पूर्व सीएम से जब खराब कानून व्यवस्था को लेकर विपक्ष के आरोपों पर सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि जनता ने विपक्ष को बोलने की जिम्मेदारी दी है। धामी सरकार में कानून व्यवस्था काफी अच्छी है। अंकिता भंडारी मामले में भी राज्य सरकार पूरी ताकत से काम कर रही है। जिसके चलते आरोपी अभी भी सलाखों के पीछे है।

सरकार गिराने के मामले की जांच

गैरसैंण विधानसभा में निर्दलीय विधायक द्वारा गुप्ता बंधुओं के जरिए 500 करोड़ में सरकार गिराने के बयान पर पूर्व सीएम निशंक ने कहा कि विधानसभा चौराहे पर भाषण देने की जगह नहीं है। जो भी कहा जाए उसमें गंभीरता होनी चाहिए। अगर यह घटना वास्तविक है तो इसका खुलासा तय समय पर होना चाहिए और जिन लोगों ने ये आरोप लगाए हैं, उन्हें भी इसका खुलासा करना चाहिए।